इन छात्रों के लिए हर विषय में सौ में से प्राप्तांक का आंकलन होगा। रेगुलर छात्रों को जो तीस अंक की इंटरनल असेसमेंट के अंक मिलते हैं, उनका आंकलन इक्डोल छात्रों के लिए नहीं किया जाएगा। बीते दिनों अकादमिक काउंसिल की हुई बैठक में इस पर फैसला होने के बाद कुलपति से इसे मंजूरी दे दी है।
वहीं इक्डोल छात्रों को जो प्रश्न पत्र आएंगे, उसमें बाकायदा प्रश्न पत्र के सौ में आंकलन किया जाना अंकित रहेगा। इस छूट को आगे भी जारी रखने को लेकर इक्डोल प्रशासन ने विवि को प्रस्ताव भेजा है। यूजीसी के रूसा सीबीसीएस के लिए तय नियमों के तहत हर परीक्षा में 70:30 के अनुपात में मूल्यांकन किया जाना होता है।
चूंकि छात्र इक्डोल से पढ़ाई कर रहे हैं, तो इनके लिए नियमित कक्षाएं, प्रैक्टीकल आदि करवाना संभव नहीं होता। इसलिए विश्वविद्यालय अब तक इक्डोल छात्रों के प्राप्तांक को 100 में आंकलन कर परिणाम देता रहा है।
हालांकि इसमें यूजी के इक्डोल छात्रों को प्रश्न पत्र 70 में से ही आता है, मगर आंकलन सौ में से किया जाता है। इक्डोल के निदेशक प्रो. प्रदीप वेद ने माना कि जून 2018 तक यूजी के छात्रों को सौ में से हर विषय के प्राप्तांक का आंकलन किए जाने की छूट को जारी रखने को मंजूरी दे दी गई है।