ऑय 1 न्यूज़ 8 फरवरी 2018 ( अमित सेठी )
पंजाब सरकार के शिक्षा विभाग द्वारा सुनाए गए फरमान की चारों तरफ से सख्त निंदा हो रही है।
पंजाब की शिक्षा मंत्री अरुणा चौधरी ने कल यह बयान दिया था के पंजाब के गर्ल्स सरकारी स्कूलों में अब 50 वर्ष से अधिक आयु वाले अधयापको को लड़कियों को पढ़ाने के लिए लगाया जाएगा। आज जब पंजाब की शिक्षा मंत्री अरुणा चौधरी से इस बारे में बातचीत की गई तो उन्होंने पैंतरा बदलते हुए कहा कि अभी तो सिर्फ सुझाव मांगे हैं। यदि लोगों को यह सुझाव पसंद ना आया तो इस स्कीम को कैंसल कर दिया जाएगा। यह कदम शिक्षा में सुधार लाने के लिए और किसी के द्वारा दिए गए सुझाव पर अमल करते हुए करने की कोशिश की जा रही है। अभी कल ही यह ऐलान जारी किया है और लोगों के सुझाव 15 दिन के अंदर-अंदर मांगे हैं। यदि लोगों को यह सुझाव पसंद नहीं आया तो इसे कैंसल कर दिया जाएगा। किसी पर यह नियम थोपा नहीं जाएगा।
यहां यह बात विचारनीय है कि यदि लड़कियों की सुरक्षा को देखते हुए पंजाब के शिक्षा मंत्री अरुणा चौधरी ने यह सुझाव दिया था तो चरणजीत चड्ढा चीफ खालसा दीवान प्रमुख और अकाली नेता सुच्चा सिंह लंगाह दोनों 50 साल के उम्र से ज्यादा होते हुए भी अश्लील हरकतों में संलिप्त पाए गए थे। तो फिर इस बात की क्या गारंटी है कि 50 साल के ऊपर के अध्यापक आचरण से साफ सुथरे ही होंगे या 50 साल से कम उम्र वाले अध्यापक बुरे आचरण के होते हैं।